3D लेज़र स्केनिंग डोक्युमेन्टेशन फॉर इन्फोर्मिंग धि पोस्ट-अर्थकवेक रिकवरी ऑफ़ हेरिटेज सेटलमेन्टस: ए प्रेक्टिकल गाइड

Jigyasu, R ORCID logoORCID: https://orcid.org/0000-0002-5785-6761, Sen, S ORCID logoORCID: https://orcid.org/0000-0002-2524-6694, Devilat, B ORCID logoORCID: https://orcid.org/0000-0002-2679-9629 and Lanuza, F ORCID logoORCID: https://orcid.org/0000-0002-6360-6865, 2023. 3D लेज़र स्केनिंग डोक्युमेन्टेशन फॉर इन्फोर्मिंग धि पोस्ट-अर्थकवेक रिकवरी ऑफ़ हेरिटेज सेटलमेन्टस: ए प्रेक्टिकल गाइड. Nottingham Trent University.

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Abstract

यह दस्तावेज़ अनुसंधान परियोजना: भारत के भूकंप आशंकित धरोहर विस्तारों के लिए अत्याधुनिक रिकोर्डिंग तकनीक आधारित चिरस्थायी (Sustainable) पुन:निर्माण कार्यप्रणाली (ए सस्टेइनेबल रि-कंस्ट्रकशन मेथड फॉर सिस्मिक-प्रोन हेरिटेज एरियास ऑफ़ इन्डिया बेस्ड ओन एडवान्स रिकोर्डिंग टेकनोलोजीस) का भाग है । यह मार्गदर्शिका दर्शाती है कि, कैसे टेरेस्ट्रिअल 3D लेज़र स्केनिंग (3DLS, LiDAR से भी जानी जाती) और फोटोग्राफी भूकंप बाद पुन:निर्माण और पुन:प्राप्ति की गतिविधियों में सहायक बन सकती हैं । आपदा बाद पुन:प्राप्ति के लिए धरोहर विस्तारों से जुड़े आर्थिक, सामाजिक और भौतिक पहलुओं को समझना आवश्यक है । यह मार्गदर्शिका निर्मित धरोहर के भौतिक पहलुओं के दस्तावेजीकरण पर ध्यान केन्द्रित करती है । समुदाय के लोगों का अपने गाँव और जगहों के साथ एक अतूट भावनात्मक संबंध स्थापित करने में इन भौतिक पहलुओं का महत्त्वपूर्ण योगदान रहता है । इस मुद्दे को ध्यान में रखते हुए, 3DLS और फोटोग्राफी पारंपरिक नगरों और गाँवों के सटिक रिकोर्डिंग और दस्तावेजीकरण को शक्य बनाती है । जोकि भूकंपीय नुकसानों और जोखिम के विस्तृत आकलन के लिए सर्वाधिक महत्त्वपूर्ण है । इस तकनीक से एकत्रित किए गए विझ्युअल और मेट्रिक डेटा द्वारा स्थल की ‘जीवंत धरोहर’ (संस्कृति अथवा समुदाय के निरंतर विकसित होते रहते सांस्कृतिक तौर-तरीकें और उनके द्वारा विकसित पारंपरिक ज्ञान व्यवस्था) का वरचुअल रिकोर्ड तैयार किया जा सकता है । इतना ही नहीं, वह समुदायों को अपनी धरोहर की सराहना करने के लिए नया दृष्टिकोण प्रदान करती है और साथ ही उन्हें इस आधुनिक तकनीक की जानकारी द्वारा उसका संरक्षण कर सकने के लिए भी सक्षम बनाती है । इस मार्गदर्शिका का भूकंपीय घटना से पहले और बाद में उपयोग किए जाने से अधिक से अधिक धरोहर भवनों को संरक्षित किया जा सकता है और साथ ही उनके संरक्षण कदमों की गुणवत्ता को भी सुधारा जा सकता है । इसके द्वारा सार्वजनिक नीतियों में सुधार लाते हुए इन भवनों और मानव जीवन पर बने जोखिम को कम किया जा सकता है ।

Item Type: Research report for external body
Alternative Title: 3D Laser Scanning documentation for informing the post-earthquake recovery of heritage settlements: a practical guide [Hindi]
Creators: Jigyasu, R., Sen, S., Devilat, B. and Lanuza, F.
Contributors:
Name
Role
NTU ID
ORCID
Abdelmonem, G.
Research team member
UNSPECIFIED
Desai, J.
Research team member
UNSPECIFIED
Mane, M.
Researcher
UNSPECIFIED
Pithawalla, Z.
Researcher
UNSPECIFIED
Singh, A.
Researcher
UNSPECIFIED
Choudhari, T.
Surveyor
UNSPECIFIED
UNSPECIFIED
Dave, P.
Translator
UNSPECIFIED
UNSPECIFIED
Publisher: Nottingham Trent University
Date: 2023
Identifiers:
Number
Type
10.17631/rd-2023-0002-dprac
DOI
1748778
Other
Divisions: Schools > School of Architecture, Design and the Built Environment
Record created by: Richard Cross
Date Added: 16 Mar 2023 15:32
Last Modified: 31 Jul 2023 08:20
Related URLs:
URI: https://irep.ntu.ac.uk/id/eprint/48512

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